land registration – जमीन की रजिस्ट्री से जुड़े नियमों में हाल ही में बड़ा बदलाव किया गया है, जिससे जमीन खरीदने वाले लोगों को सावधान रहने की जरूरत है। अब अगर जमीन की रजिस्ट्री किसी नियम या प्रक्रिया के विरुद्ध पाई जाती है, तो उसे कैंसिल भी किया जा सकता है। पहले ऐसे मामलों में वर्षों तक कोर्ट-कचहरी के चक्कर लगाने पड़ते थे, लेकिन अब सरकार ने सीधे ऐसे प्रावधान जोड़ दिए हैं जिससे गलत तरीके से की गई रजिस्ट्री अमान्य मानी जाएगी। इस बदलाव का सीधा असर खरीदार और विक्रेता दोनों पर पड़ेगा, इसलिए सभी को जमीन खरीदने से पहले पूरी जांच करनी होगी।

नए नियम का उद्देश्य
सरकार का कहना है कि जमीन की रजिस्ट्री से जुड़े इन नए नियमों का उद्देश्य धोखाधड़ी और फर्जीवाड़े को रोकना है। बहुत से मामलों में देखा गया कि एक ही जमीन कई बार अलग-अलग लोगों को बेच दी जाती थी या फिर कागजों में गड़बड़ी कर ली जाती थी। इस कारण आम जनता को भारी नुकसान झेलना पड़ता था। अब नए नियम के तहत अगर किसी भी रजिस्ट्री में धांधली पाई जाती है तो रजिस्ट्री तुरंत रद्द हो जाएगी। इससे जमीन विवादों की संख्या कम होगी और पारदर्शिता बढ़ेगी।
खरीदारों पर असर
इन नियमों का सीधा असर जमीन खरीदने वालों पर पड़ेगा। अब खरीदार को पहले से ज्यादा सतर्क रहना होगा। रजिस्ट्री से पहले सभी जरूरी दस्तावेजों की जांच करनी होगी, जैसे जमीन पर कोई विवाद तो नहीं, पुराने मालिकाना हक सही हैं या नहीं, और कागजात पूरी तरह वैध हैं या नहीं। अगर खरीदार ने जांच-पड़ताल में लापरवाही की और बाद में रजिस्ट्री कैंसिल हो गई, तो उसकी पूरी पूंजी डूब सकती है। इसलिए सरकार भी लोगों को सलाह दे रही है कि रजिस्ट्री कराने से पहले पूरी जांच-पड़ताल जरूर करें।

विक्रेताओं की जिम्मेदारी
विक्रेता के लिए भी अब यह जरूरी हो गया है कि वह केवल सही और विवाद-मुक्त जमीन ही बेचे। अगर कोई विक्रेता जानबूझकर गलत जानकारी देता है या फर्जी दस्तावेजों पर रजिस्ट्री कराता है, तो उस पर भी कानूनी कार्रवाई की जाएगी। सरकार ने साफ कर दिया है कि धोखाधड़ी करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। इस बदलाव से जमीन बेचने वाले लोग भी जिम्मेदारी से काम करेंगे और खरीदार के साथ सही व्यवहार करेंगे, जिससे दोनों पक्षों के बीच विश्वास कायम होगा।
भविष्य की तैयारी
इन नए नियमों के लागू होने के बाद जमीन खरीद-फरोख्त का माहौल और ज्यादा पारदर्शी और सुरक्षित होगा। इससे लंबी कोर्ट-कचहरी की प्रक्रिया से लोगों को राहत मिलेगी। सरकार चाहती है कि जमीन से जुड़े सभी लेन-देन डिजिटल और पूरी तरह पारदर्शी हों। भविष्य में रजिस्ट्री की प्रक्रिया और भी आसान और सुरक्षित बनाई जाएगी ताकि आम नागरिक बिना किसी डर के अपनी जमीन खरीद सके। इस नियम का असर रियल एस्टेट सेक्टर पर भी पड़ेगा और निवेशकों का भरोसा बढ़ेगा।